बड़वानी ।   मध्य प्रदेश के बड़वानी जिले के नागलवाड़ी में सतपुड़ा पर्वत की सुरम्य हरी-भरी वादियों में शिखर पर बसे शिखरधाम भीलटदेव नागतीर्थ में अब भव्य भीलटदेव लोक कारिडोर बनेगा। इसकी प्रक्रिया शुरू हो गई है।

देश का 17वां कारिडोर

दरअसल गत दिनों शिखर धाम तलहटी के नीचे मां नर्मदा के पवित्र जल के लिए नागलवाड़ी उद्वन परियोजना का लोकार्पण मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने किया था। इसी अवसर पर शिखर धाम पर भीलटदेव मंदिर परिसर का अवलोकन करने के बाद उज्जैन महाकाल कारिडोर की तर्ज पर भीलटदेव लोक परिसर बनाने की घोषणा की थी। जोकि भारत के 17 वां कारिडोर में शामिल है। अब भव्य और दिव्य भीलटदेव लोक कारिडोर बनेगा। इसकी रूपरेखा तय करने के लिए बड़वानी कलेक्टर डा राहुल फटिग की अध्यक्षता में समिति गठित की गई है। जिसमें भिलटदेव सेवा संस्थान भी शामिल है।

समिति ने उज्जैन जाकर देखा महाकाल लोक

भीलटदेव सेवा संस्थान ने पिछले दिनों उज्जैन जाकर महाकाल कारिडोर का निरीक्षण किया व कार्यों का अवलोकन किया। भीलटदेवलोक कारिडोर में भीलटदेव के जीवन के कार्यों का व चमत्कारों का सजीव चित्रण करके भव्य और दिव्य विशाल भीलट लोक कारिडोर का निर्माण होगा। जिससे कि आसपास के लोगों को और अधिक रोजगार उपलब्ध होगा। जिससे कि इस क्षेत्र की और अधिक उन्नति के साथ खूशहाली आएगी। साथ ही प्रदेश के अन्य हिस्सों में भी बाबा भीलटदेव की ख्याति व प्रसिद्धि के साथ मनोकामनाएं पूर्ण होने की कथा महिमा देखने को और जानने को मिलेगी।

ऐसे बना नवीन मंदिर

भीलटदेव का गुलाबी पत्थरों से आकर्षक एवं भव्य विशाल मंदिर बना हुआ है। यहां पर भीलटदेव सेवा समिति द्वारा जन सहयोग से श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए कार्य निरंतर जारी है। पूज्य संत सियाराम बाबा द्वारा भक्तों के लिए वर्षा एवं धूप से बचने के लिए बड़े-बड़े शेड सर्व सुविधा के साथ बनाए हैं। वहीं श्रद्धालुओं के ठहरने के लिए सियाराम भक्त निवास भी बनाया गया है।

800 वर्ष पुराना इतिहास

ऊंचे शिखर पर मंदिर होने से भक्तों को कठिन चढ़ाई चढ़नी पड़ती थी। जिससे भक्तों को परेशानियों का सामना करना पड़ता था। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की घोषणाओं पर अमल करते हुए शिखर धाम रोड आठ करोड़ की लागत से पक्का रास्ता बनाने का कार्य जोर शोर से चल रहा है। भीलट बाबा का इतिहास लगभग 800 वर्षों से भी अधिक प्राचीन होकर इतिहास में अंकित है। बाबा भीलट देव के अनेकों चमत्कार तपोभूमि शिखर धाम से प्रचलित होकर जन कल्याण के कार्यों का प्रमाण मिलता है। यह लाखों लोगों की आस्था का केंद्र है।