लखनऊ/भोपाल । तमाम कयासों पर विराम लगाते हुए इंडिया गठबंधन लोकसभा चुनाव के साथ ही मप्र में मिलकर विधानसभा का चुनाव लड़ेगा। इसका संकेत समाजवादी पार्टी ने दिया है। जानकारी के अनुसार मप्र में सपा, कांग्रेस और आम आदमी पार्टी मिलकर चुनाव लड़ेंगे। इसके लिए तीनों पार्टियों के बीच पहले दौर की बात हो चुकी है।
उधर, सपा ने साफ कर दिया है कि मप्र विधानसभा चुनाव में सपा-कांग्रेस मिलकर चुनाव लड़ेंगे। इसे लेकर सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव व पार्टी महासचिव शिवपाल सिंह यादव के बीच गठबंधन के प्रत्याशी घोषित करने को लेकर चर्चा हुई। इसके बाद अखिलेश यादव ने मप्र के पदाधिकारियों व टिकट के दावेदारों के साथ मुलाकात की।मप्र में 2018 के अंत में हुए विधानसभा चुनाव में सपा ने बिजावर सीट जीती थी, जबकि छह सीटों पर दूसरे स्थान पर रही थी। दूसरे स्थान वाली सीटों पर उसकी मुख्य लड़ाई भाजपा से हुई थी। वर्ष 2003 के विधानसभा चुनाव में सपा के सात विधायक जीते थे। इस बार सपा ने गठबंधन के तहत 10-12 सीटें मांगी थीं। इस मुद्दे पर सपा के प्रमुख महासचिव प्रो. रामगोपाल यादव और कांग्रेस के मप्र के प्रभारी महासचिव रणदीप सुरजेवाला के बीच कई राउंड की बातचीत हुई। राजनीतिक सूत्रों के मुताबिक सपा को सात सीटें दी जाएंगी जबकि दो और पर सपा नेताओं ने दावा किया है। यह दावा भी कांग्रेस हाईकमान के सामने प्रस्तुत कर दिया गया है। अंतिम निर्णय वहीं से लिया जाएगा।
कांग्रेस सूत्रों का कहना है कि आम आदमी पार्टी के साथ भी समन्वय बनाने की कोशिशें चल रही हैं। जिन क्षेत्रों में पार्टी का प्रभाव हैं, उन क्षेत्रों में उन्हें कुछ सीटें दी जा सकती है। इसके लिए दोनों पार्टी के रणनीतिकार चर्चा कर रहे हैं। इस चर्चा में कांग्रेस द्वारा कराए गए सर्वे को प्राथमिकता दी जाएगी। गौरतलब है कि प्रदेश में आप ने कई सीटों पर अपने प्रत्याशी पहले ही घोषित कर दिया है। वहीं दिल्ली और पंजाब के मुख्यमंत्री धुंआधार प्रचार भी कर रहे हैं। कांग्रेस को उम्मीद है कि जल्द की साथ मिलकर चुनाव लडऩे का फैसला कर लिया जाएगा।